अब गाय से भी मुस्लिम वोट बैंक को खतरा!
भारतीय संस्कृति में गोमाता को पूजनीय ही नहीं बल्कि आर्थिक विकास की धुरी भी माना गया है. इसकी रक्षा राष्ट्र और समाज हित में है. इसी वजह से लम्बे समय से हिन्दू समाज की मांग रही है गोहत्या पर प्रतिबन्ध लगे. लेकिन पूर्ववर्ती सेकुलर सरकारों ने इस प्रतिबन्ध को स्वीकार करने की बजाय, यह मांग उठाने वालो को ही साम्प्रदायिक करार देना शुरू कर दिया. कोंग्रेस, जनता दल समेत अन्य सेकुलर पार्टियों के यह नेता अब गोहत्या विरोध को भी अल्पसंख्यको के हितो पर कुठाराघात मान रहे है. हाल ही में कर्नाटक की येदुयीराप्पा (भाजपा) सरकार ने गोहत्या विरोधी विधेयक क्या तैयार किया, जमात-इ-सेकुलर के पेट में मरोड़ा आने लगी. पेश है इसी सम्बन्ध में दैनिक जागरण में छपी विस्तृत खबर..इस विधेयक के कानून का रूप लेने के बाद गोहत्या के दोषी को एक साल से सात साल तक की सजा हो सकेगी। इसके अलावा कानून में 25 से 50 हजार रुपये तक के दंड का भी प्रावधान किया गया है। विपक्षी कांग्रेस और जनता दल-एस ने इस विधेयक की आलोचना की है। कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष आरवी देशपांडे का कहना है कि येद्दयुरप्पा सरकार यह विधेयक राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के दबाव में ला रही है। पूर्व प्रधानमंत्री और जद एस के नेता एच.सी. देवेगौड़ा ने विधेयक को अल्पसंख्यक विरोधी बताते हुए आंदोलन की धमकी दी है।
लेकिन, इन आरोपों से इन्कार करते हुए राज्य के गृह मंत्री वीएस आचार्य ने विधेयक को संविधान के प्रावधानों के तहत और जम्मू-कश्मीर कानून की तर्ज पर बताया। आचार्य ने आरोप लगाया कि विधेयक का विरोध दुर्भावना से प्रेरित और वोटबैंक देखकर किया जा रहा है।
http://in.jagran.yahoo.com/news/national/politics/5_2_6177942.html
4 comments:
sari baten agayanta men hoti hen,,parstut jaankari padho to yeh jhagda hi khatam ho jaye
February 15, 2010 at 1:36 PMप्राचीन भारत में गोहत्या एवं गोमांसाहार
ऊपर वर्णित श्री राहुल नामक व्यक्ति जिस बात को इंगित कर रहे हैं वह कचरा दशको से सरिता जैसी विकृत पत्रिकाओं में छपता रहा है. और राहुल जैसे मित्र उसी झांसे में आकर गुमराह हुए हैं. दर असल अंग्रेजो ने अपने कार्यकाल में एक विद्वान को भाड़े पर लेकर यह साबित करने की कोशिश की थी कि हिन्दुओं में गोमांस सेवन वर्जित नहीं है. यदि कोई आग्रह करे तो इसा बारे में विस्तार से लेख उपलब्ध करा सकता हूँ.
February 15, 2010 at 10:11 PMजीत भाई ने सही लिखा है.
February 16, 2010 at 1:50 PM@राहुल,
शाहबानो मामले में सुप्रीम कोर्ट के फैसले को संसद में अपने बहुमत से धता बताने वाले शायद ज्यादा ज्ञानी थे.क्यों???
@rahul
February 22, 2010 at 1:01 PMrahul is impressed with sickularism
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